यूपी : तीन मासूम न्याय माँगने पहुँचे जिलाधिकारी के दरबार..रोते बिलखते सुनाई आप बीती..जानिए फिर क्या हुआ..
पहले नाबालिग बहन व विधवा मां को जेल, अब विपक्षी कर रहे उजाड़ने का खेल..

खबर उत्तर प्रदेश के सुल्तानपुर जिले से है जहाँ दबंगों ने विधवा और उसकी नाबालिग बेटी को पहले जेल भेजवाया फिर घर में केवल तीन मासूम बच्चे बचे तो मौके का फायदा उठाकर दबंगो ने पुलिस को हमवारकर कर पीड़ित की आबादी की जमीन को बैनामे की भूमि बताकर उस पर निर्माण शुरू करा दिया। ये सब देख डीएम के दरबार में न्याय मांगने पहुंचे डरे सहमे मासूम बच्चों ने बताई आप बीती।
दरसल मामला बल्दीराय तहसील क्षेत्र के पाराबाजार से सटे अलियाबाद से जुड़ा बताया जा रहा है,यहां की रहने वाली हसीबुल निशा अपनी तीन नाबालिग बेटियों और मासूम बेटे के साथ पुस्तैनी आबादी की जमीन पर बने एक कमरे के टूटे भवन में रहती है। बीती 20 जुलाई को अनुपालन दिवस की आड़ में हल्का लेखपाल पुलिस बल के साथ मकान के अगले हिस्से पर लगे टीन शेड को जेसीबी लेकर ढहाने पहुंच गये। जबकि आबादी की जमीन पर पुलिस और प्रशासन बिना न्यायालय की अनुमति के हस्तक्षेप नहीं कर सकता। बावजूद इसके हल्का लेखपाल द्वारा की जा रही कार्यवाही से नाराज हसीबुल से झड़प शुरू हो गई।
आरोप है कि हसीबुल निशा व उनकी नाबालिग बेटी ने चौकी इंचार्ज पर ज्वलनशील पदार्थ फेंक दिया। जिसके बाद पुलिस ने विधवा मां और नाबालिग बेटी पर जानलेवा हमला, एससी/एसटी समेत अन्य गंभीर धाराओं में रपट दर्जकर जेल भेज दिया। इस घटना के बाद आरोप है कि विपक्षी तीनों मासूमों को घर से डरा-धमकाकर भगा दिया और मनमाने तरीके से निर्माण शुरू करा दिया। स्थानीय पुलिस से न्याय न मिलने पर मासूम भाई-बहन डीएम जसजीत कौर के दरबार पहुंचे यहां बिलखते हुए न्याय की गुहार लगाई। जिसके बाद डीएम ने न्याय का भरोसा दिलाते हुए अन्य सरकारी सुविधा दिलाने का आश्वासन दिया।