शिक्षक ही राष्ट्र निर्माण की आधारशिला : सरस्वती विद्या मंदिर में शिक्षक दिवस की पूर्व संध्या पर हुआ भव्य आयोजन

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ऋषिकेश :  आवास विकास स्थित सरस्वती विद्या मंदिर इण्टर कॉलेज के विवेकानंद योग सभागार में शिक्षक दिवस की पूर्व संध्या पर एक भव्य कार्यक्रम का आयोजन किया गया। कार्यक्रम का शुभारंभ डॉ. सर्वपल्ली राधाकृष्णन के चित्र पर दीप प्रज्ज्वलित कर किया गया।अतिथियों का स्वागत पटका पहनाकर एवं उपहार भेंट कर किया गया।इस अवसर पर डॉ. आर. डी. शर्मा (रामनगर बोर्ड उत्तराखंड के पूर्व सचिव एवं उपनिदेशक, एस.सी.आर.टी) ने कहा कि विद्यार्थियों में अनुशासन, संस्कार और परिश्रम की भावना का विकास ही सच्चे गुरु-दक्षिणा है।
विद्यालय प्रबंध समिति के अध्यक्ष डॉ. शशि कुमार कंडवाल ने अपने उद्बोधन में कहा कि शिक्षक ही विद्यार्थियों के चरित्र निर्माण के निर्माता हैं। उनके मार्गदर्शन से ही समाज और राष्ट्र प्रगति की ओर अग्रसर होता है।प्रधानाचार्य उमाकांत पंत ने कहा कि शिक्षक दिवस केवल स्मरण का दिन नहीं, बल्कि प्रेरणा का अवसर है। शिक्षक ज्ञान के साथ जीवन मूल्य और आदर्श भी प्रदान करते हैं, जो विद्यार्थियों के व्यक्तित्व को निखारते हुए राष्ट्र को नई दिशा देते हैं।
कार्यक्रम में डॉ. गिरीश चंद्र मिश्रा (पूर्व प्राचार्य, राजकीय महाविद्यालय रुद्रप्रयाग) एवं विद्याभारती के पूर्व प्रधानाचार्य  राजेंद्र प्रसाद पांडे(निदेशक राजश्री चिल्ड्रन एकेडमी),समर बहादुर चौहान, गिरीश चंद्र शर्मा सहित अन्य गणमान्य उपस्थित रहे।साथ ही कार्यक्रम में सभी छात्र छात्राओं की ओर से शिक्षकों को सम्मानित किया गया।कार्यक्रम का परिचय गृह परीक्षा प्रभारी श्री राम गोपाल रतूड़ी ने दिया तथा संचालन छात्रा राजनंदिनी ने किया।मौके पर विद्यालय के उप प्रधानाचार्य नागेन्द्र पोखरियाल,मीडिया प्रभारी नरेन्द्र खुराना, लक्ष्मी चौहान,रजनी गर्ग एवं विद्यालय का समस्त स्टॉफ मौजूद रहा।

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