सोनभद्र :यूक्रेन में फंसे हैं यूपी के सोनभद्र जिले के ओबरा के अक्षत गुप्ता, परिजन चिंतित प्रधानमंत्री से लगाई मदद की गुहार

Сонбхадра: Акшат Гупта из Обры района Сонбхадра UP застрял в Украине, преследуя MBBS в Украине

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सोनभद्र : खबर सोनभद्र से है…इन दिनों यूक्रेन और रूस में जंग छिड़ी है वही यूक्रेन में भारत के भी हजारो नागरिक फंसे हुए है। ऐसे में ओबरा के अनिल गुप्ता के पुत्र अक्षत गुप्ता यूक्रेन के खार्किव नेशनल मेडिकल यूनिवर्सिटी में मेडिकल की पढ़ाई करने गया है. वहां अक्षत एमबीबीएस प्रथम वर्ष का छात्र है. रूस के हमले के बाद यूक्रेन में हर तरफ तबाही का मंजर है. लोग किसी तरह से खुद को वापस करने की कोशिश में जुटे हुए हैं. रूस की ओर से हमले के बाद से ही अक्षत का संपर्क परिवार से नहीं हो पाया था. शनिवार को किसी तरह अक्षत ने व्हाट्सएप पर वीडियो कॉलिंग कर परिवार को अपनी स्थिति बताई. अक्षत ने बताया कि यूनिवर्सिटी में दो बंकर बनाकर बच्चों को सुरक्षित किया गया है, करीब 170 भारतीय छात्र वहां फंसे हुए हैं, जिसमें कई पूर्वांचल के रहने वाले लोग हैं. वहां फंसे हुए हैं। रूस की सीमा से नजदीक होने के कारण भय बना हुआ है. बाहर लगातार तेज धमाके हो रहे हैं उन्हें बंकर से निकलने नहीं दिया जा रहा है. खाने पीने की व्यवस्था अभी हॉस्टल में हो रही है, मगर आगे क्या होगा कुछ नहीं पता. जान की चिंता सता रही है, रात में धमाका होता है तो नींद खुल जाती है. पुलिस सायरन और धमाके की आवाज गूंज रही है.

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अनिल गुप्ता व पिंकी गुप्ता के पुत्र अक्षत ने आठवीं तक की शिक्षा ओबरा के सैक्रेड हार्ट स्कूल में की है इसके बाद इंटर की पढ़ाई विशाखापट्टनम के चैतन्या टेकको स्कूल से की है. प्रतियोगी परीक्षा पास करने के बाद वह एमबीबीएस के लिए यूक्रेन चले गए. इस समय वो एमबीबीएस प्रथम वर्ष के छात्र है.  बेटे की दशा सुनकर परिवार सहम गया है वह सलामती के लिए ईश्वर से प्रार्थना कर रहा है. पिता अनिल गुप्ता ने बताया कि सरकार की ओर से जारी हेल्पलाइन नंबर पर संपर्क किया गया था. उधर से बताया गया कि यूनिवर्सिटी की पोलैंड सरकार से बात चल रही है. पर पोलैंड तक जाने के दूरी ज्यादा है. लगभग 1000 हजार किलोमीटर दूरी होने की वजह से खतरा ज्यादा है अभी यूक्रेन सरकार बसों से बच्चों को भेजने के लिए तैयार नही हो रही है. वही अनिल गुप्ता ने प्रधानमंत्री मोदी से बेटे की वापसी को लेकर गुहार लगाई है. भारत सरकार प्रयास कर मेरे बेटे को व देश के नागरिकों को सुरक्षित बाहर निकाल लें.

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वही अक्षत की माता प्रीति गुप्ता ने बताया कि हमारा बेटा एमबीबीएस का प्रथम वर्ष का छात्र है और दो महीने पहले ही गया है. जब से जंग छिड़ी है तब से बहुत डर लग रहा है. बेटे से बात तो लगभग रोज हो रही है. पर आगे क्या होगा कुछ समझ नही आ रहा है. हाल्नकी अब छात्रों का आना शुरू हो गया है. तीन फ्लाइट अभी तक आ चुकी हैं भारतीय लोगों को लेकर. ऐसे में उम्मीद जताई जा रही है जल्द सभी को एयरलिफ्ट कर लिया जायेगा.

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