ऋषिकेश :बच्चे हों तो ऐसे…IDPL में दो सगे भाइयों को मिला खोया हुआ मोबाइल तो घंटी बजी और मोबाइल के मालिक सरदार जी हुए खुश दिया बच्चों को आशीर्वाद
ऋषियक्ष : कहते हैं संस्कार अच्छे हैं तो समझो जिंदगी में आप कहीं जाओ कुछ भी कर लो आप सफलता की सीढ़ी चढ़ते रहोगे. खुशियां आपके कदम चूमेंगी. दरअसल, 10 जून रात तकरीबन 10.15 बजे के आसपास एक कीमती मोबाईल फ़ोन दो सगे भाइयों चिराग गुप्ता और अंकुर गुप्ता पुत्र ओम प्रकाश गुप्ता हॉकी कोच को सड़क पर गिरा हुआ मिला। जिस पर कॉल आ रही थी तो दोनों भाइयों ने उस मोबाईल पर आ रही कॉल को रिसीव करके उनको बताया कि उनका मोबाईल आईडीपीएल गुरुद्वारे के पास हमारे पास है और आप आकर ले लीजिए. मोबाईल फोन के मालिक सरदार शमशेर सिंह तुरंत थोड़ी देर में दोनों भाइयों के पास पहुँच गए और खुशी जाहिर करते हुए कहा कि अगर सभी बच्चे ऐसे ही हो जाए तो समाज में बहुत बड़ा बदलाव आएगा. इन दोनो बच्चो ने ईमानदारी की मिशाल पेश करते हुए एक आदर्श स्कूली छात्र होने का परिचय भी दिया है। आपको बट्टा दें, चिराग गुप्ता जो आदर्श राजकीय इण्टर कॉलेज वीरभद्र ऋषिकेश का 10 वीं का मेधावी छात्र है वहीँ उसका छोटा भाई अंकुर गुप्ता जो एक शानदार हॉकी का उभरता हुआ खिलाड़ी है और वह महाराणा प्रताप स्पोर्ट्स कॉलेज रायपुर देहरादून का 7 वी कक्षा का छात्र है।
इन दोनों बच्चो को ऐसे संस्कार उन्हें उनके पिता ओम प्रकाश गुप्ता से ही मिले हैं। गुप्ता बच्चों को फ्री मे स्पोर्ट्स की कोचिंग आईडीपीएल हॉकी ग्राउन्ड मे देते है और साथ ही साथ बच्चों की कैरियर काउंसलिंग भी करते हैं ताकि बच्चे अपने जीवन के लक्ष्य को प्राप्त कर सकें. समाज के लिए यह परिवार एक प्रेरणाश्रोत है कि अगर सभी माता पिता अपने बच्चों को शिक्षा के साथ साथ संस्कार भी दे तो समाज मे बदलाव जरुर आएगा. समाज के प्रतिष्ठित लोगों व सोसाइटियों को ऐसे बच्चों को पुरुस्कृत करना चाहिए ताकि समाज मे ऐसे ही और बच्चे बने और समाज एक सकारात्मक दिशा की तरफ बढे.