रायवाला : आईपीएस अधिकारी जितेन्द्र मेहरा को दी गयी विदाई जनप्रतिनिधियों द्वारा, सफलतम 3 महीने की ट्रेनिंग पूरी करने के बाद

रायवाला : (मनोज रौतेला) आज छिद्दरवाला में जनप्रतिनिधियों एवं समाजसेवियों द्वारा थाना अध्यक्ष आईपीएस प्रशिक्षु जितेंद्र मेहरा को रायवाला थाना अध्यक्ष के रूप में पूरी कर्तव्य निष्ठा के साथ तीन माह का सफलतम कार्यकाल पूर्ण करने के उपरांत आज फूल माला एवं साल उठाकर विदाई दी गयी।
आईपीएस जितेंद्र मेहरा द्वारा अपने कार्यकाल में पूरी निष्ठा एवं ईमानदारी से विभिन्न क्षेत्रों में उत्कृष्ट कार्य किए गए। चाहे वह छिद्दरवाला हाईवे अतिक्रमण का मामला हो या क्षेत्र में बढ़ रही नसे के व्यापार पर अंकुश की बात हो या फिर कानून व्यवस्था की बात सभी मामलों में उत्कृष्ट कार्य करने के लिए जनप्रतिनिधियों एवं समाज सेवायों द्वारा आज उन्हें सम्मानित कर बधाई दी गई। मेहरा राजस्थान के रहने वाले हैं. इस अवसर पर ब्लॉक प्रमुख भगवान सिंह पोखरियाल पूर्व जिला पंचायत सदस्य देवेंद्र सिंह नेगी, पूर्व जिला पंचायत सदस्य अनीता राणा, ग्राम प्रधान जोगीवाला माफी सोबन सिंह कैंतूरा, ग्राम प्रधान चकजोगीवाला भगवान सिंह मेहर, ग्राम प्रधान खैरि कला चंद्रमोहन पोखरियाल, छिद्दरवाला प्रधान प्रतिनिधि बलविंदर सिंह, क्षेत्र पंचायत साहब नगर अमर खत्री, उप प्रधान छिद्दरवाला हरीश पैन्यूली, महिला मोर्चा अध्यक्ष शमा पंवार, समाजसेवी रोशन कुड़ियाल, समाजसेवी अंबर गुरंग, पूर्व प्रधान हरीश कक्कड़, सुमित कक्कड़, जगमोहन पंवार आदि लोग उपस्थित रहे।
राजस्थान के रहने वाले हैं किसान के बेटे हैं जितेंद्र मेहरा –
मिलनसार, मृदुल व्यहार के धनी जितेन्द्र मेहरा ने संघ लोक सेवा आयोग यूपीएससी ने सिविल सेवा परीक्षा 2020 पास की. राजस्थान के झालावाड़ जिले के एक छोटे से गांव खजूरी मनोहरथाना से जितेन्द्र कुमार मेहरा का आईपीएस में चयन हुआ। प्रारम्भिक शिक्षा उन्होंने नवोदय से की। इसके बाद आईआईटी गुवाहाटी से बीटेक किया। प्राईवेट कम्पनी नौकरी मेंं अच्छा पैकेज छोड़कर देश की सेवा के लिए जितेन्द्र ने प्रशासनिक सेवा की तैयारी की तथा पहली बार में इन्टरव्यू पहुंच गए थे। दूसरी बार में जितेन्द्र का सलेक्शन हुआ, आईपीएस कैडर मिला है।
उनके पिता जमनालाल किसान है तथा माता संतोष देवी गृहणी है । पहली कक्षा से आठवीं तक गांव के ही सरकारी स्कूल में पढ़ाई की. इसके बाद पचपहाड़ के नवोदय स्कूल से 12 वीं उत्तीर्ण की। इसके बाद जितेन्द्र का आईआईटी में चयन हो गया था। आईआईटी करने के बाद सात साल तक हैदराबाद की एक प्राइवेट कम्पनी में जॉब किया। 2009 में लंदन में अध्ययन करवाने के लिए भी गए। लंदन में अध्यापन के दौरान ही अपने देश के लिए कुछ कर गुजरने की ठानी और स्वदेश लौटने के बाद प्रशासनिक सेवा की तैयारी में जुट गए और सफलता हासिल की. उनकी पत्नी दिल्ली में आईपीएस अधिकारी हैं.